जानिए सरकार हर टिकट पर कितनी सब्सिडी दे रही है, रेल मंत्री ने किया बड़ा खुलासा

भारत में ट्रेन यात्रा को हमेशा से ही आम आदमी की पहली पसंद माना जाता है। कम किराया, सुविधाजनक सफर और व्यापक नेटवर्क के कारण लाखों लोग हर दिन भारतीय रेलवे का उपयोग करते हैं। लेकिन क्या आपने कभी सोचा है कि ट्रेन टिकट इतना सस्ता कैसे होता है? इसका जवाब है — सरकार की भारी सब्सिडी (Railway Ticket Subsidy)।

हाल ही में रेल मंत्री ने संसद में एक बड़ा खुलासा किया है, जिससे यह साफ हो गया है कि सरकार हर यात्री के टिकट पर मोटी सब्सिडी देती है।

हर टिकट पर कितनी मिलती है सब्सिडी?

रेल मंत्री के अनुसार, सरकार हर पैसेंजर के टिकट पर औसतन 55% सब्सिडी देती है। इसका मतलब यह हुआ कि यदि किसी यात्रा की असली लागत ₹100 है, तो यात्री उससे सिर्फ ₹45 का ही भुगतान करता है, बाकी ₹55 सरकार वहन करती है।

 कैटेगरी अनुसार सब्सिडी का विभाजन:

ट्रेन श्रेणी अनुमानित सब्सिडी (%) औसत टिकट मूल्य वास्तविक लागत
सामान्य क्लास (General) 60% ₹30 ₹75
मेल/एक्सप्रेस ट्रेनें 50-55% ₹150 ₹300
AC क्लास 40-45% ₹500 ₹900

 सरकार हर साल ₹70,000 करोड़ से अधिक सब्सिडी ट्रेन यात्रियों के लिए देती है।

रेल मंत्री का बयान

रेल मंत्री ने संसद में कहा:

भारतीय रेलवे एक सामाजिक दायित्व निभा रही है। हम केवल मुनाफे के लिए काम नहीं कर रहे। हम चाहते हैं कि देश का हर नागरिक रेल सेवा का लाभ उठा सके। इसलिए सरकार हर टिकट पर भारी सब्सिडी दे रही है।”

किन यात्रियों को सबसे ज्यादा फायदा?

सरकार द्वारा दी जाने वाली सब्सिडी का सबसे ज्यादा लाभ निम्न वर्ग और निम्न-मध्यम वर्ग के यात्रियों को होता है:

  1. सामान्य श्रेणी में सफर करने वाले यात्री

  2. लोकल और पैसेंजर ट्रेनों के यूज़र्स

  3. वरिष्ठ नागरिक, छात्र और दिव्यांग यात्रियों को अतिरिक्त छूट

 वरिष्ठ नागरिकों को उम्र के अनुसार 40% से 50% तक की अतिरिक्त छूट मिलती है।

 सब्सिडी का असर रेलवे की कमाई पर

सरकार द्वारा दी गई सब्सिडी का असर रेलवे की वित्तीय स्थिति पर भी पड़ता है। लेकिन सरकार इसे एक ‘सामाजिक निवेश’ मानती है, जिससे देश का गरीब और मध्यम वर्ग भी बड़ी दूरियों की यात्रा कर सकता है।

रेल मंत्री के अनुसार:

  • रेलवे की टिकट से होने वाली कमाई, ऑपरेशन कॉस्ट का आधा भी नहीं कवर करती।

  • सब्सिडी के चलते रेलवे को सालाना ₹35,000 से ₹40,000 करोड़ का घाटा होता है।

  • फिर भी सरकार हर साल बजट में भारी राशि रेलवे के लिए आवंटित करती है।

डिजिटल टिकट पर भी मिलती है सब्सिडी?

जी हां! चाहे आप IRCTC की वेबसाइट या मोबाइल ऐप से टिकट बुक करें, सब्सिडी का लाभ सभी को समान रूप से मिलता है। यह सब्सिडी टिकट की कीमत में पहले से ही शामिल होती है, इसलिए अलग से कोई दावा करने की आवश्यकता नहीं होती।

 क्या सब्सिडी भविष्य में खत्म हो सकती है?

इस सवाल के जवाब में रेल मंत्री ने कहा कि:

“हमारा उद्देश्य जनता को सस्ती और सुलभ रेल सेवा देना है। जब तक ज़रूरत है, सब्सिडी जारी रहेगी। हां, सेवा की गुणवत्ता बढ़ाने और डिजिटल बदलाव के लिए छोटे सुधार किए जा सकते हैं।”

कुछ गलतफहमियों का सच

मिथक सच्चाई
ट्रेन टिकट में कोई सब्सिडी नहीं मिलती  हर टिकट पर औसतन 55% सब्सिडी दी जाती है
सिर्फ गरीब यात्रियों को सब्सिडी मिलती है  सभी यात्रियों को रियायती दरों पर टिकट मिलता है
ऑनलाइन टिकट पर सब्सिडी नहीं मिलती  डिजिटल टिकट पर भी वही सब्सिडी लागू होती है

 निष्कर्ष:

भारतीय रेलवे पर सरकार हर साल हजारों करोड़ रुपये की सब्सिडी देती है, ताकि आम जनता को सस्ता, सुरक्षित और भरोसेमंद परिवहन मिल सके। रेल मंत्री के इस खुलासे से यह साफ हो गया है कि ट्रेन टिकट की जो कीमत हम चुकाते हैं, उसकी असली लागत कहीं ज्यादा होती है।

इसलिए अगली बार जब आप ट्रेन से यात्रा करें, तो समझिए कि सरकार आपकी यात्रा को आसान और किफायती बनाने में बड़ा योगदान दे रही है।

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